इस सादगी पर कौन ना मर मिटें, लोग अकसर इन आंखों में सुकून ढूँढते है.
उनकी संगत के असर में मुमकिन है, चंद लम्होँ में उनसे मोहब्बत हुई
तरह-तरह से भुलाया मगर बेबस दिल का आख़िर में हुआ ये हाल,
हर एक ख्याल से पैदा तेरा ही ख्याल हुआ....!
~ Contributions : Siddhant Sharma
उनकी संगत के असर में मुमकिन है, चंद लम्होँ में उनसे मोहब्बत हुई
तरह-तरह से भुलाया मगर बेबस दिल का आख़िर में हुआ ये हाल,
हर एक ख्याल से पैदा तेरा ही ख्याल हुआ....!
~ Contributions : Siddhant Sharma
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